
रिपोर्ट: संदीप मिश्रा | रायबरेली, उत्तर प्रदेश | Kadak Times
रायबरेली के डलमऊ थाना क्षेत्र से एक हैरान करने वाला मामला सामने आया है। एक पति ने आरोप लगाया है कि उसकी पत्नी न केवल उसका घर उजाड़कर प्रेमी के साथ फरार हो गई, बल्कि मासूम बच्ची को भी अपने साथ ले गई और अब पति की हत्या की साजिश रची जा रही है।
पीड़ित पति महेश कुमार, निवासी ग्राम मनसुख मऊ, ने इस मामले को लेकर रायबरेली पुलिस अधीक्षक से लिखित शिकायत की है, जिसमें कई गंभीर बातें सामने आई हैं।
पत्नी ने बेटी संग छोड़ा घर, ले गई ज़िंदगी की पूंजी
महेश कुमार ने बताया कि 17 जुलाई 2025 को जब वह किसी निजी काम से रायबरेली शहर गया था, तब घर पर उसकी पत्नी रानी और दोनों बच्चे मौजूद थे। शाम को जब वह वापस लौटा, तो देखा कि घर पर ताला लगा है।
अंदर जाकर उसने देखा कि पत्नी रानी 9 साल की बेटी अंशिका को लेकर गायब है। साथ ही घर से जेवरात, FD, LIC कागज़ात और ₹50,000 नकद भी ले गई।
फोन पर धमकियाँ – “रानी को भूल जाओ, वरना जान से जाओगे!”
महेश ने दावा किया कि मोबाइल नंबर 7052302644 से उसे लगातार धमकी भरे कॉल आ रहे हैं। कॉल करने वाला खुद को उसकी पत्नी का प्रेमी बताता है और कहता है:
“रानी अब मेरी बीवी है, अगर उससे मिलने की कोशिश की तो तुझे खत्म कर देंगे। 50 हजार रुपये दो, तब बात होगी!”
साजिश पहले से थी तैयार – पति को जहर भी दिया गया
महेश ने यह भी बताया कि 1 जुलाई को वह अपनी पत्नी को मायके से लाने गया था, जहां उसे खाने में कुछ जहरीली चीज दी गई। तबीयत बिगड़ने पर ससुराल वाले उसे प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र ले गए, जहाँ उसका इलाज कराया गया।
महेश का कहना है कि ये एक सोची-समझी साजिश थी, जिससे उसकी जान ली जा सके।
पुलिस पर गंभीर लापरवाही का आरोप
महेश ने थाना डलमऊ में रिपोर्ट दी थी, लेकिन पुलिस ने केवल गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज की। महेश का आरोप है कि पुलिस ने अभी तक न तो मोबाइल नंबर ट्रेस किया और न ही बच्ची की तलाश शुरू की।
पीड़ित का आरोप है कि पुलिस इस गंभीर मामले को हल्के में ले रही है और अपराधियों को खुली छूट मिल रही है।
मासूम बच्ची की सुरक्षा पर मंडरा रहा है खतरा
महेश को डर है कि उसकी बेटी को गलत हाथों में बेच दिया जाएगा या उसे किसी आपराधिक गतिविधि में फंसा दिया जाएगा। वह यह भी आशंका जता रहा है कि उसकी कभी भी हत्या करवाई जा सकती है।
SP से लगाई गुहार – “मेरी और मेरी बच्ची की जान बचाइए”
महेश ने पुलिस अधीक्षक से मांग की है कि:
- उसकी शिकायत पर IPC की धाराओं में मुकदमा दर्ज किया जाए।
- मोबाइल नंबर की कॉल डिटेल निकाली जाए।
- उसकी पत्नी और प्रेमी की लोकेशन ट्रेस की जाए।
- उसे और उसकी बेटी को सुरक्षा दी जाए।
यह सिर्फ एक पारिवारिक विवाद नहीं, बल्कि अपराध की गहराई तक जाता मामला है
ये घटना बताती है कि जब रिश्ते विश्वास तोड़ते हैं, तो वो क्राइम की शक्ल ले लेते हैं। ये मामला केवल भाग जाने या शादी से असंतोष का नहीं है, बल्कि इसमें:
- प्रेम संबंधों के कारण परिवार बर्बाद हुआ,
- मासूम बच्ची को संकट में डाल दिया गया,
- और पति की जान को खतरे में डालकर खुलेआम धमकियाँ दी जा रही हैं।
फिर भी पुलिस की निष्क्रियता कई सवाल खड़े करती है।
समाज के लिए चेतावनी – रिश्तों के नाम पर अपराध को बर्दाश्त मत करो!
महेश जैसे लाखों लोग हैं जिनका परिवार प्रेम संबंधों की आड़ में उजड़ रहा है। महिलाएं भी अब अपराध में भागीदार बन रही हैं। ऐसे मामलों में पुलिस की निष्क्रियता और सिस्टम की कमजोरी ने कई मासूम ज़िंदगियाँ तबाह कर दी हैं।
अब समय है कि ऐसे मामलों को गंभीरता से लिया जाए। समाज और प्रशासन दोनों को सतर्क होना होगा।