
रिपोर्ट: माया लक्ष्मी मिश्रा | रायबरेली, उत्तर प्रदेश | Kadak Times
रायबरेली जनपद के जगतपुर थाना क्षेत्र के रोझइया भीखम शाह गांव में नाग पंचमी के मौके पर पारंपरिक गुड़िया त्योहार मनाया गया, जिसे लेकर पूरे गांव में उल्लास और जश्न का माहौल रहा।
सुबह होते ही बच्चों की टोली अपने हाथों में कपड़े और मिट्टी से बनी गुड़िया लेकर गांव के बाहर खेतों की ओर जाती दिखी। परंपरा के अनुसार, इन गुड़ियों को प्रतीकात्मक रूप से गांव के बाहर फेंक दिया जाता है और फिर लड़कों द्वारा उन्हें डंडों से मारा जाता है।
इस विशेष आयोजन का उद्देश्य केवल खेल नहीं, बल्कि पुरानी लोक मान्यताओं से जुड़ा हुआ है। मान्यता है कि ऐसा करने से बच्चों की नज़र दोष से रक्षा होती है और घर-परिवार में सुख-शांति बनी रहती है।
गांव के बुजुर्ग बताते हैं कि यह परंपरा पीढ़ियों से निभाई जा रही है। वहीं महिलाओं ने दिनभर व्रत और नाग देवता की पूजा कर अपने परिवार की समृद्धि की कामना की। उन्होंने मिट्टी के सांप बनाकर दूध, लड्डू और पुष्प अर्पित किए।
इस पूरे आयोजन में बच्चों का उत्साह देखने लायक था। गांव की गलियों में हंसी-खुशी और लोक गीतों की गूंज सुनाई दी। वहीं युवाओं ने इसे सोशल मीडिया पर भी शेयर किया, जिससे इस लोक उत्सव की झलक दूर-दूर तक पहुंची।
इस त्योहार की तस्वीरें और वीडियो अब Instagram Reels और Facebook Stories पर वायरल हो रही हैं, जिनमें इसे #NagPanchamiFestival, #GudiyaTyohar और #RaeBareliTradition जैसे हैशटैग्स के साथ देखा जा सकता है।
यह त्योहार न सिर्फ बच्चों के लिए एक खेल का माध्यम बना, बल्कि इसने यह भी साबित कर दिया कि ग्रामीण संस्कृति में अभी भी लोक परंपराएं जीवित हैं, जो समाज को जोड़ने का काम करती हैं।