नई साइकिलें पाकर खिल उठीं ज़रूरतमंद कन्याएं: रोटरी क्लब रायबरेली का एक प्रेरणादायक प्रयास

रिपोर्टर: संदीप मिश्रा, रायबरेली
रायबरेली में रोटरी क्लब द्वारा आयोजित एक विशेष सेवा कार्यक्रम के अंतर्गत आज आधा दर्जन ज़रूरतमंद बालिकाओं को नई साइकिलें वितरित की गईं। यह आयोजन न केवल सेवा और सहयोग का प्रतीक बना, बल्कि शिक्षा और महिला सशक्तिकरण की दिशा में एक मजबूत कदम भी सिद्ध हुआ।
रोटरी सेवा केंद्र, रायबरेली में आयोजित इस साइकिल वितरण समारोह में शहर के गणमान्य लोगों के साथ रोटरी क्लब के वरिष्ठ सदस्य, पूर्व अध्यक्षगण और आमंत्रित अतिथि शामिल हुए। मुख्य अतिथि के रूप में पधारे रोटरी क्लब के पूर्व मंडलाध्यक्ष श्री सुनील बंसल ने समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि समाज का विकास तभी संभव है जब हर नागरिक शिक्षित और स्वस्थ हो। उन्होंने रोटरी क्लब द्वारा शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में किए जा रहे प्रयासों की सराहना करते हुए इसे समाज के लिए एक मिसाल बताया।
रोटरी क्लब रायबरेली के अध्यक्ष श्री राकेश कक्कड़ ने अतिथियों का स्वागत करते हुए कहा कि इस पहल का उद्देश्य केवल साइकिल देना नहीं, बल्कि उन बच्चियों को सशक्त बनाना है जो दूरदराज़ क्षेत्रों से विद्यालय आती हैं और जिनके पास सुविधा का अभाव है।
इस अवसर पर रोटरी मंडल से आए विशेष प्रतिनिधि श्री अमित जायसवाल और श्री विवेक अग्रवाल ने रोटरी क्लब के कार्यों की विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने बताया कि रोटरी क्लब रायबरेली पिछले 50 वर्षों से सतत रूप से समाज सेवा में जुटा है और यह कार्य अब केवल एक संगठन का नहीं, बल्कि एक जनांदोलन का रूप ले चुका है।
समारोह में पूर्व अध्यक्ष श्री अजय त्रिवेदी ने क्लब द्वारा अब तक किए गए कार्यों की जानकारी साझा की। उन्होंने बताया कि क्लब द्वारा चलाए जा रहे स्वास्थ्य शिविर, रक्तदान अभियान, पर्यावरण संरक्षण, शिक्षा सामग्री वितरण, जल संरक्षण और महिला स्वास्थ्य जागरूकता जैसे कार्यक्रम समाज के विभिन्न वर्गों तक अपनी सकारात्मक पहुंच बना चुके हैं।
इस समारोह में गोविंद खन्ना ने मंच संचालन की जिम्मेदारी निभाई। समारोह में क्लब के सचिव विवेक सिंह, पूर्व अध्यक्ष एस. एल. चंदवानी, संजय सबरवाल, अरविंद श्रीवास्तव, आर. के. सोनी, विकास दीक्षित, राकेश चंदनानी, राजीव भार्गव और डॉ. ज्ञानेन्द्र चतुर्वेदी भी विशेष रूप से उपस्थित रहे।
कार्यक्रम में लक्ष्मी, अंकिता, आराधना सहित कुल 6 बालिकाओं को नई साइकिलें दी गईं। ये बालिकाएं आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों से संबंध रखती हैं और अपने विद्यालयों में नियमित रूप से अध्ययनरत हैं। इन साइकिलों के मिलने से न केवल उनकी शैक्षणिक यात्रा आसान होगी, बल्कि समय और ऊर्जा की भी बचत होगी, जिससे वे और अधिक मन लगाकर पढ़ाई कर सकेंगी।
लक्ष्मी, जो शहर से लगभग 5 किलोमीटर दूर स्थित गांव से प्रतिदिन पैदल विद्यालय जाती थी, ने साइकिल मिलने पर अपनी खुशी व्यक्त करते हुए कहा कि अब वह बिना थके समय पर विद्यालय पहुंच सकेगी और उसकी पढ़ाई में रुकावट नहीं आएगी।
कार्यक्रम के अंत में पूर्व अध्यक्ष एवं कार्यक्रम समन्वयक पी. एस. सलूजा ने उपस्थित अतिथियों, रोटरी क्लब के सदस्यों तथा मीडिया प्रतिनिधियों का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि रोटरी क्लब आगे भी इसी प्रकार समाज के विभिन्न वर्गों के लिए सेवा कार्य करता रहेगा और ज़रूरतमंदों तक सहायता पहुंचाता रहेगा।
यह कार्यक्रम न केवल एक सेवा प्रयास था, बल्कि यह बालिकाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत भी बना। यह दर्शाता है कि यदि समाज के प्रत्येक सक्षम व्यक्ति या संस्था एक-एक बच्चे की जिम्मेदारी उठाए, तो कोई भी बच्चा संसाधनों के अभाव में अपनी शिक्षा से वंचित नहीं रहेगा।
रोटरी क्लब रायबरेली द्वारा किया गया यह कार्य महिला शिक्षा और सशक्तिकरण के क्षेत्र में एक मिसाल बनकर उभरा है। ऐसे आयोजन सामाजिक समरसता और जन-जागरूकता को बढ़ावा देते हैं और समाज को एक नई दिशा प्रदान करते हैं।
यह आयोजन ‘बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ’ जैसे अभियानों के उद्देश्य को भी मजबूती देता है। जब बालिकाएं आत्मनिर्भर बनेंगी, तो न केवल उनका भविष्य उज्ज्वल होगा, बल्कि समाज और देश भी मजबूती से आगे बढ़ेगा।
इस प्रकार, रोटरी क्लब रायबरेली की यह पहल एक बार फिर यह सिद्ध करती है कि सामाजिक उत्तरदायित्व का निर्वाह केवल शब्दों से नहीं, बल्कि सक्रिय प्रयासों से होता है।